भोपाल !
मध्यप्रदेश में यूरिया के संकट को लेकर सियासत गरमाई हुई है। एक तरफ जहां किसान
यूरिया ना मिलने से परेशान हैं और सड़कों पर उतरकर आक्रोश जता रहा है। वहीं सरकार
और विपक्ष के बीच आरोप प्रत्यारोप की लड़ाई आगे बढ़ गई है। पूर्व सीएम शिवराज ने भाजपा
नेताओं के साथ सागर में प्रदर्शन कर गिरफ्तारी दी और कमलनाथ सरकार पर कई आरोप
लगाए। इसके पलटवार में मंत्री जीतू पटवारी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की और पूर्व सीएम
शिवराज पर जमकर भड़ास निकाली।
मंत्री पटवारी ने कहा सत्ता जाने की निराशा आज-कल शिवराज सिंह के
वक्तव्यों में अधिक दिखाई देने लगी है, भाषा
की मर्यादा भूल गए हैं| मुख्यमंत्री
कमलनाथ के संदर्भ में जिस प्रकार ‘खेत की मूली’ जैसी अभद्र भाषा का प्रयोग किया है, उससे एक बात तो स्पष्ट हो जाती है कि उनकी
सत्ता लोलुपता का स्तर क्या हो गया है।
उन्होंने कहा केंद्र की सरकार मध्य प्रदेश के साथ भेदभाव कर रही है। सत्ता
जाने के बाद शिवराज नकारात्मक हो गए हैं। यूरिया संकट के लिए केंद्र जिम्मेदार है, पहले केंद्र सरकार के खिलाफ शिवराज दिल्ली में
धरना देते थे। लेकिन अब प्रधानमंत्री के पास जाने में उन्हें डर लगता है। इस मांग
को लेकर केंद्र के पास जाने की शिवराज के पास हिम्मत ही नहीं है, पीएम मोदी से डरने वाला व्यक्तित्व शिवराज सिंह
का है|
मंत्री पटवारी ने कहा कमलनाथ जब केंद्रीय मंत्री थे तो मध्य प्रदेश
के लिए उन्होंने हमेशा राशि दी, अब शिवराज को
कुछ तो उनसे सीखना चाहिए। सत्ता जाने के बाद नकारात्मक हो गए हैं जनता को गुमराह
कर रहे हैं, भाजपा के ही
नेता उन्हें अब छोटा नेता मानते हैं। जीतू पटवारी ने पूर्व सीएम शिवराज को एक पत्र
भी लिखा है|
No comments:
Post a Comment
Note: only a member of this blog may post a comment.