जिलों
में भी हों भूमि, जल-संरक्षण
और कचरा प्रबंधन प्रदर्शन : मंत्री श्री पटेल
पंचायत
एवं ग्रामीण विकास मंत्री श्री कमलेश्वर पटेल ने कहा है कि भूमि एवं जल-संरक्षण
तथा कचरा प्रबंधन के लिए वाल्मी के कार्यो का जिलों में भी प्रदर्शन कराया जाना
चाहिए। उन्होंने कहा कि मधुमक्खी पालन और मशरूम की खेती को लाभ का धंधा बनाने के
लिए गंभीर प्रयास जरूरी हैं। श्री पटेल वाल्मी परिसर में 2 करोड़ की बाउण्ड्री वॉल का भूमि-पूजन
कर रहे थे। उन्होंने कचरा प्रबंधन, मधुमक्खी पालन, मशरूम उत्पादन प्रक्षेत्र का लोकार्पण
भी किया।
मंत्री
श्री पटेल ने कहा कि भूमि एवं जल प्रबंधन के क्षेत्र में वाल्मी संस्थान महत्वपूर्ण
भूमिका निभा रहा हैं। इससे शासकीय अमले के साथ जन-प्रतिनिधि भी जल-संरक्षण और
संवर्धन की गतिविधियों को समझ पा रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्राकृतिक संसाधनों के
साथ हुए खिलवाड़ से ही पेयजल संकट पैदा हो रहा है। उन्होंने कहा कि हम सबका नैतिक
दायित्व है कि जल-संरक्षण की गतिविधियों से स्वयं को जोड़ें।
नीदरलैंड
के एक्सपर्ट सिखाएंगे मधुमक्खी पालन
वाल्मी
परिसर में मधुमक्खी पालन और मशरूम उत्पादन के प्रदर्शन कार्यक्रम में नीदरलैण्ड से
आए विशेषज्ञ श्री को डेविट किसानों और मधुमक्खी पालकों को मधुमक्खी पालन की
बारीकियों का प्रशिक्षण देंगे। श्री को डेविट ने कहा कि भारत में उत्पादित शहद की
मांग पूरी दुनिया में सर्वाधिक हैं। इसको व्यवसाय बनाने की आवश्यकता है।
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